‘माफ कीजिए और प्रगति की ओर चलिए..’ : दुनिया भर में दादा वासवानीजी का 105वां जन्मदिन विश्व क्षमा दिवस के रूप में हर्षोल्लास से मनाया गया
डॉ संजय जोशी
पुणे। पूज्य दादा जेपी वासवानीजी का जन्मदिन देश और दुनिया में विश्व क्षमा दिवस के रूप में हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। यही नहीं, अमेरिका में पांच शहर और एक राज्य में 2 अगस्त 2023 को विश्व क्षमा दिवस घोषित किया गया। इसमें न्यूयॉर्क राज्य, न्यूयॉर्क शहर और पूर्वी ब्रंसविक, सेक्यूकस, गुटेनबर्ग और एडिसन के शहर शामिल हैं। यह भारत के लिए सबसे अच्छे क्षणों में से एक रहा है। साधु वासवानी मिशन और उसके विश्वव्यापी केंद्रों द्वारा आयोजित सेवा गतिविधियों और सत्संगों, साधु वासवानी और पूज्य दादा वासवानीजी के रिकॉर्ड किए गए प्रवचन और मिशन की कार्यकारी प्रमुख दीदी कृष्णाकुमारीजी के लाइव मार्गदर्शन का प्रसारण किया गया। ‘क्षमा' को वर्तमान समय की आवश्यकता बताने वाले पूज्य संत दादा वासवानीजी, जो कि दूरदर्शी थे, इस वास्तविकता को जानते थे। दादाजी ने हमेशा इस बात पर जोर दिया कि किसी को माफ किया जा सकता है और माफी की साहसी और परिवर्तनकारी शक्ति का उपयोग करके दिल की शांति पाई जा सकती है। दादाजी का मानना था, कि हृदय की शांति से विश्व शांति होगी। साधु वासवानी मिशन ‘शांतता का क्षण' पहल के तहत एक वार्षिक अभियान आयोजित करता है। जहां व्यक्ति एक-दूसरे को क्षमा करते हैं और क्षमा मांगते हैं। वे अपना मन शुद्ध करते हैं और मानसिक शांति का अनुभव करते हैं। इस वर्ष, ‘शांतता का क्षण' अभियान ने व्यक्तिगत, पेशेवर, सामाजिक और आध्यात्मिक सहित किसी के जीवन के सभी क्षेत्रों को बेहतर बनाने के लिए क्षमा की शक्ति पर प्रकाश डालते हुए ‘माफ कीजिए और प्रगति की ओर चलिए' की अवधारणा पर एक अभियान आयोजित किया। साथ ही सामुदायिक अभियान के रूप में ‘क्षमा बैंड' भी वितरित किया गया। इसमें भाग लेने वाले व्यक्तियों को ’शांति दूत' की उपाधि दी गई। अनेक लोगों ने सोशल मीडिया पर ‘शांति दूत' बैज भी साझा किया। उधर अमरीका के साथ
ऑस्ट्रेलिया में रेडियो चैनल 2 एनजेड 1188 ने विश्व क्षमा दिवस के विश्वव्यापी समारोहों पर प्रकाश डालते हुए एक जागरूकता संदेश प्रसारित किया। इसके अलावा, भारत में पुणे, दिल्ली, नासिक, भोपाल, राजकोट और बिलासपुर आदि शहरों के शैक्षणिक संस्थान इस उत्सव में शामिल हुए्। बच्चों ने बड़े उत्साह से पोस्टर बनाए, नारे लिखे और माफ़ी बैंड 'शेअर' किए। सभी पेशेवरों, सभी नागरिक, बच्चों और वरिष्ठजनों ने दोपहर 2 बजे शांति के क्षण अभियान में भाग लिया। विश्व क्षमा दिवस के लिए निर्धारित समय, लोग जहां भी हो, 2 मिनट के लिए रुकते हैं। एक-दूसरे को क्षमा करते है और एक-दूसरे से क्षमा मांगते हैं। उनके दिल और मन में आंतरिक शांति का अनुभव करते हैं। आयोजन में मिशन के पुणे मुख्यालय में बड़ी संख्या में श्रद्धालुजनों ने हिस्सा लिया। इनमें सहभागी जया ने कहा, ‘जब आप किसी को माफ करने का फैसला करते हैं, तो आपको एहसास होता है कि आपने अब तक जो कुछ भी जमा करके रखा है, उसके लिए आपके दिल में कोई जगह नहीं है। ऐसे प्रयासों से क्षमा करना आसान हो जाता है।'
त्रिदिवसीय उत्सव कार्यक्रम में अनेक गरीब–जरूरतमंद हुए लाभान्वित..
पूज्य दादाजी के 105वें जन्मदिन समारोह के एक भाग के रूप में, साधु वासवानी मिशन त्रिदिवसीय उत्सव कार्यक्रम में साधु मिशन के स्कूलों और कॉलेजों के छात्रों की प्रस्तुतियॉं, सत्संग, साधु वासवानीजी, दादा वासवानीजी के रिकॉर्ड किए गए प्रवचन और दीदी कृष्णाकुमारीजी का लाइव मार्गदर्शन शामिल था।
दीदी कृष्णाकुमारीजी ने अपने संदेश में दादाजी के जीवनी पर विचार रखे व उनके जीवन की कुछ प्रेरक घटनाओं के बारे में बताया। इस अवसर पर सभी के लिए लंगर-संगति का आयोजन भी किया गया।
समारोह के हिस्से के रूप में, गरीबों और जरूरतमंदों, तृतीयपंथी, दिव्यांग, वंचित बच्चे, वरिष्ठ नागरिक, दृष्टिबाधितजन तथा गोमाता सेवा कें लिए सप्ताह भर की सेवा गतिविधियॉं आयोजित की गई। मिशन के स्वास्थ्य संस्थानों द्वारा जरूरतमंद मरीजों को रियायती और मुफ्त चिकित्सा उपचार भी प्रदान किया गया।