आम जन को जागरूक करने के लिए बीकानेर संभागीय आयुक्त डॉ. नीरज के. पवन ने देहदान का संकल्प लेकर उठाया महत्वपूर्ण कदम
बीकानेर, 16 जून। समाज को कुशल चिकित्सक देने हेतु उसको मानव शरीर रचना का पूरा ज्ञान होना आवश्यक है। जो मृत शरीर पर परीक्षण द्वारा ही संभव है। इसके लिए देहदान अर्थात मृत्यु उपरान्त संपूर्ण शरीर का दान करना अति महत्वपूर्ण है। इस गंभीर विषय को लेकर आम जन को जागरूक करने के लिए संभागीय आयुक्त डॉक्टर नीरज के. पवन ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। शुक्रवार को मेडिकल कॉलेज पहुंचकर उन्होंने अपनी देह दान हेतु एक संकल्प पत्र भर को प्राचार्य डॉक्टर गुंजन सोनी को सौंपकर बताया कि मेरा बीकानेर से अलग ही लगाव है यहां के लोगों का मुझसे विशेष स्नेह है अब मरणोपरांत भी मेरी देह यहां के मेडिकल स्टूडेंट्स के अध्ययन हेतु काम आएगी। डॉक्टर नीरज के पवन ने प्राचार्य सोनी को सुझाव दिया कि कैडेबरिक ऑर्गन डोनेशन के लिए भी एसपी मेडिकल कॉलेज में शीघ्र प्रारंभ किया जाए। उन्होने बताया कि राजस्थान का पहला कैडेबरिक ऑर्गन डोनेशन उन्हीं के प्रयासों से संभव हुआ।
डॉक्टर सोनी ने बताया कि भगवत गीता में भी कहा गया है कि जो दान कर्तव्य समझकर, बिना किसी अहं भाव के, निःस्वार्थ भाव से किया जाता है वही उत्तम श्रेणी में आता है, इस कदम से निश्चित रूप से आम जन जागरूक होंगें। प्राचार्य सोनी ने कहा कि देहदान से व्यक्ति मरणोपरांत भी किसी को जीवनदान दे जाता है। यही नहीं वह ऐसे चिकित्सक को गढऩे में भागीदार होता हैए जो वर्षों तक चिकित्सा सेवा के माध्यम से देश विदेश में लाखों लोगों की जान बचाता है। संकल्प पत्र प्राप्त करने के बाद प्राचार्य डॉ. सोनी ने संभागीय आायुक्त डॉक्टर नीरज के पवन को एनाटॉमी विभाग द्वारा जारी अग्रभाग देह दान कार्ड सौंपा। इस दौरान बीकाणा ब्लड सेवा समिति के पंकज भटनागर ने भी देहदान का संकल्प पत्र भरकर कॉलेज प्रशासन को सौंपा।
ये गणमान्य व्यक्ति रहे मौजूद
बीकाणा ब्लड सेवा समिति के अध्यक्ष रवि पारीक, विफा महिला अध्यक्ष आशा पारीक, समाज सेवी जुगल राठी, एनाटोमी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. मोहन सिंह, नोडल ऑफिसर डॉ. जसकरण, डॉ. आरवी बरार, डॉ. अजय श्रीवास्तव, डॉ जितेन्द्र आचार्य, निजी सचिव विनय गोस्वामी, जितेन्द्र ओझा वरिष्ठ लैब टैक्निशियन मोहन व्यास, विनय थानवी, रवि अग्रवाल आदि उपस्थित रहे।